बड़े शहर ,बड़े लोग
.बड़े लोग
बच बच कर चलें
.घर में
,दुकान में ,कार्यालय
में ,कार में ,बाज़ार में ,वातानुकूलित प्रबन्ध किये .आप की गर्मी कम न होने का नाम नहीं
. नाही हुई न होगी
.सरे उम्र भरष्ट चार करते हैं साल के अंत में परिवार
के साथ असनान करने जाकर पवित्र होजाने
का ढोंग करते हैं
,अब गंगा ,भी और गए भी पॉलीथीन
बैग खा कार मर रही हैं
.गए का
प्रेम देखना और सुनना हो तो राजश्थान
के उस गोशाला गांव
में जाएँ जहाँ पिछले पांच दिनों में १३००
गएँ मरचुकी .फिर किया था नरहेगी
बांस न बजे गई आप सब की बांसुरी
.सभी गायों को जयपुर की सड़क पर छोड़ दिया .किसी की हिम्मत किया इन गायों को भगाये I ,
बच के निकल जाते हैं
,साइकिल पर .अभी आज की ही रात पेट्रोल
और डीजल की २.५० और 3.५० प्रति लीटर सरकार
ने बढ़ा
दिया .सरकार को पता था की आप की कार ने खूब पानी पिया .और अच्छे दिन लाएं .मन
की बात सुनते रहिये
.कभी ऊपर
वाले का भी मक़ाम जाएँ .हम
सब को डूबने का रिहर्सल
कार रहा हैI .
पर बच कार कहाँ जायेगा .२६ जनवरी बहुत सोच समझ कार नेहरू जी ने रखा गया था .वार्ना
अगर यह धूम वर्षा ऋतू में मनाई जाती तो ओबामा को डूबना ही डूबना था .केरी
साहेब को समझ में गया . लेकेन
खुद से उन्ह दर नहीं वार्ना धरती पर फितना न होता .डूब
तो अमेरिका भी रहा
है तभी
तो डिफेन्स मिनिस्टर
पर्रिकर ने भारत के सभी हवाई अड्डे
दे दिए ताकि डूबने की स्थित में समस्त देश वासियों को यहाँ लाएं जा जासकें
.केरी साहेब तो निगरानी करने आयेथे .डूबने
से बल बल बचे
I .To be CONTINUED EARLIEST .

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